Income Tax News: पिछले महीने सभी टैक्सपेयर्स के द्वारा इनकम टैक्स फाइल किया गया था। सरकार ने आईटीआर फाइल करने की आखिरी तारीख 31 जुलाई तय की थी। ऐसे में आप जिस तारीख को आईटीआर फाइल करते हैं तो उसके 30 दिनों के बाद वेरिफिकेशन करना होता है। अगर आपने अभी तक आईटीआर रिटर्न वेरिफाई नहीं किया है तो आपको पछताना पड़ सकता है।
आपको बता दें 31 जुलाई तक आईटीआर फाइल करने की आखिरी तारीख थी। इस हिसाब से 30 दिनों के बाद आईटीआर वेरिफाई करना है। कैलकुलेशन के हिसाब से आप आईटीआर वेरिफाई कल तक यानि कि 30 अगस्त तक कर सकते थे। ऐसे में अगर आपने अभी तक आईटीआर वेरिफाई नहीं किया है तो आपको भारी जुर्माना देना पड़ेगा। चलिए डिटेल में समझते हैं।
जानें पूरी डिटेल
इनकम टैक्स विभाग के नियम के मुताबिक, इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने के 30 दिनों के बाद आईटीआर वेरिफिकेशन नहीं करते हैं तो आपको भारी जुर्माना देना होता है। नियम के मुताबिक, जिस दिन आप इनकम टैक्स रिटर्न वेरिफाई करते हैं वहीं दिन इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने के दिन माना जाता है। इस हिसाब से अगर आप वेरिफाई करने से चूक गए हैं तो आपको भारी जुर्माना देना होगा।
जानें कितना देना होगा जुर्माना
अगर आप देरी से वेरिफाई करते हैं तो आपको तकरीबन 5000 रुपये लेट फीस के तौर पर देने होंगे। बहराल 5 लाख रुपये से कम इनकम वालों को 1 हजार रुपये लेट फीस के तौर पर देने होंगे। वहीं इनकम टैक्स सेक्शन 234A के तहत लेट आईटीआर फाइल करने पर हर महीने के हिसाब से टैक्स पर 1 फीसदी की दर से ब्याज अदा करना होगा। इसका सीधा सा अर्थ है जितनी देरी होगी, उतना ज्यादा ब्याज चुकाना होगा।
ITR वेरिफाई करने का तरीका
ITR वेरिफाई करने के लिए सबसे पहले पोर्टल पर जाना होगा। इसके बाद होम पेज पर ई वेरिफाई रिटर्न वाले विकल्प पर क्लिक करना होगा। इसके बाद आपको पैन नंबर डालना होगा। अब आपको अपने वित्तीय वर्ष का चुनाव करना होगा। इसके बाद अकनॉलेजमेंट नंबर डालना है साथ में मोबाइल नंबर भी डालना है। अब आपको कंटीन्यू वाले ऑप्शन पर क्लिक कर देना है।
इसके बाद आप एक नए पेज पर पहुंच जाएंगे। जिसमें आपको मोबाइल नंबर पर आए ओटीपी को डालना है और सबमिट बटन पर क्लिक कर देना है। यदि आप 30 दिनों के बाद आईटीआर फाइलिंग कर रहे हैं तो आपको ओके पर क्लिक कर देना है।
अब आपको डिले रिक्वेस्ट डालनी होगी। जिसमें ये बताना होगा कि इसमें देरी क्यों हुई है। इसके बाद ड्रॉपडाउन मेन्यू को सेलेक्ट करना है। ये वेरिफाई करने का बेहद ही आसान तरीका है। आप इसके द्वारा आईटीआर फाइलिंग वेरिफिकेशन कर सकते हैं।